Prashant Kishore Update : बीपीएससी के खिलाफ चल रहे विरोध प्रदर्शन के बीच प्रशांत किशोर का मामला तूल पकड़ता जा रहा है। प्रशांत किशोर की जमानत को लेकर जिला प्रशासन ने बड़ा दावा किया है। प्रशासन के मुताबिक प्रशांत किशोर बेउर जेल नहीं गए और उन्होंने बॉन्ड भी भरा। इन सबके बीच पटना पुलिस ने प्रशांत किशोर और उनके 200 समर्थकों के खिलाफ कोर्ट में भीड़ जुटाने और पुलिस के साथ धक्का-मुक्की करने के आरोप में एफआईआर दर्ज की है।
प्रशांत किशोर पर यह एफआईआर पटना के पीरबहोर थाने में दर्ज की गई है। इस एफआईआर में प्रशांत किशोर के साथ-साथ उनके 150-200 समर्थकों पर भी केस दर्ज किया गया है। एफआईआर में पुलिस के साथ हाथापाई और सरकारी काम में बाधा डालने का आरोप है। एफआईआर में यह भी कहा गया है कि इस हाथापाई में एक पुलिसकर्मी का हाथ टूट गया है। कहा गया है कि कोर्ट परिसर में विधि-व्यवस्था बिगाड़ने की कोशिश की गई है।
प्रशांत किशोर को लेकर पटना जिला प्रशासन ने प्रेस रिलीज जारी कर कहा है कि पीके अपने राजनीतिक फायदे के लिए झूठ बोल रहे हैं। उन्हें 25 हजार के निजी मुचलके पर रिहा किया गया। साथ ही उन्हें बेउर जेल भी नहीं ले जाया गया।
बताया जा रहा है कि इस एफआईआर में पटना सिविल कोर्ट परिसर में भीड़ इकट्ठा करने और हंगामा करने और पुलिस की गाड़ी में बैठकर मीडिया को संबोधित करने का आरोप है। आपको बता दें कि पीके को सोमवार की सुबह-सुबह पटना पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया था। जिसके बाद गांधी प्रतिमा के पास अनशन स्थल को खाली करा दिया गया। बाद में प्रशांत किशोर को कोर्ट ले जाया गया. यहां पीके को 25 हजार रुपये के निजी मुचलके पर जमानत मिल पाई।
इधर, बीपीएससी अभ्यर्थियों ने मंगलवार को सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया। लेकिन कोर्ट ने सुनवाई से इनकार कर दिया और अभ्यर्थियों को पटना हाईकोर्ट जाने की सलाह दी।