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PM AWAS Yojana : नई व्यवस्था लागू होने तक पीएम आवास की किस्त नहीं मिलेगी.

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By Samastipur Today Desk

 


 

PM AWAS Yojana : नई व्यवस्था लागू होने तक पीएम आवास की किस्त नहीं मिलेगी.

 

प्रधानमंत्री आवास योजना ग्रामीण के तहत चयनित परिवारों को मिलने वाली किस्त के लिए अभी और इंतजार करना होगा। केंद्र सरकार ने साफ कर दिया है कि नई व्यवस्था ‘एनएनए स्पर्श’ के माध्यम से ही राशि का भुगतान होगा।

 

इधर 31 जुलाई के बाद से पुरानी प्रक्रिया से भुगतान बंद है। इस कारण राज्य के दस लाख परिवारों को आवास बनाने के लिए राशि का भुगतान प्रभावित है। ग्रामीण विकास विभाग ने केंद्र सरकार से लिखित आग्रह किया था कि नई व्यवस्था लागू होने में अभी विलंब है, इसलिए पुरानी पद्धति के अनुसार राशि दी जाये।

विभाग ने कहा था कि राशि नहीं मिलने से वित्तीय वर्ष 2024-25 और 2025-26 के लक्ष्य के अनुरूप कार्य को समय पर पूरा करने में कठिनाई होगी। वहीं, ग्रामीण विकास मंत्री श्रवण कुमार ने दिल्ली जाकर केंद्रीय ग्रामीण विकास विभाग से मुलाकात कर 1497 करोड़ तत्काल जारी करने का आग्रह किया था। लेकिन, केंद्र ने नई व्यवस्था को शीघ्र अपनाने को कहा है।

इस संबंध में विभाग के पदाधिकारी बताते हैं कि नई व्यवस्था के तहत अब राशि का भुगतान सीधे आरबीआई के माध्यम से होगा। पूर्व में राशि की निकासी कर संबंधित बैंक में जमा की जाती थी। फिर, बैंक के माध्यम से लाभुकों के खाते में भेजी जाती थी। यह प्रक्रिया अब बंद कर दी गई है।

‘एनएनए स्पर्श’ से ही राशि का होगा भुगतान

केंद्र सरकार ने साफ कर दिया है कि नई व्यवस्था ‘एनएनए स्पर्श’ के माध्यम से ही राशि का भुगतान होगा। इस कारण आवास सॉफ्ट को नई व्यवस्था के साथ टैग किया जा रहा है। हालांकि, प्रयास किया जा रहा है कि नई व्यवस्था को शीघ्र लागू किया जाये। पर, इसमें अभी कुछ और दिन का समय लगेगा। मालूम हो कि वित्तीय वर्ष 2024-25 में दो बार में करीब साढ़े सात लाख आवास की स्वीकृति केंद्र सरकार ने दी थी।

वहीं, वित्तीय वर्ष 2025-26 में अप्रैल माह में और साढ़े पांच लाख और आवास की स्वीकृति मिली। बाद में इनमें कइयों के नाम विभिन्न कारणों से सूची से हटाये भी गये हैं। इस तरह वर्तमान में राज्य के 12 लाख 26 हजार 428 लाभुकों को पक्का मकान बनाने के लिए राशि दी जानी है। इनमें 12 लाख से अधिक मकान बनाने की स्वीकृति दी जा चुकी है। इनमें करीब एक लाख 82 हजार मकान पूर्ण किये गये हैं।