बिजली उपभोक्ताओं की शिकायतों के त्वरित निवारण को केंद्र में रख एकीकृत ओमनी चैनल सीआरएम प्रणाली इस माह के अंत तक आरंभ हो जाएगी। विद्युत भवन में सोमवार को ऊर्जा सचिव पंकज कुमार पाल की अध्यक्षता में हुई बैठक में इस आशय का फैसला लिया गया।

निर्वाध सुविधा के लिए है एप
बैठक मे एसबीपीडीसीएल के प्रबंध निदेशक महेंद्र कुमार तथा एनबीपीडीसीएल के प्रबंध निदेशक डा. निलेश रामचंद्र देवरे भी मौजूद थे। ऊर्जा सचिव सह बिजली कंपनी के सीएमडी ने कहा कि ओमनी चैनल को पूरी तैयारी के साथ लागू किया जाए, ताकि उपभोक्ताओं को निर्बाध सेवा मिल सके।

ऐसे किया जाएगा शिकायों का समाधान
प्रथम चरण में इस सिस्टम के तहत एसएमएस, काल सेंटर, मिस्ड काल, इंटरनेट मीडिया, वेबसाइट, फाल्ट मैनेजमेंट, उपभोक्ता फीडबैक और मीटरिंग एजेंसियों से प्राप्त शिकायतों के माड्यूल शामिल रहेंगे।

कई भाषाओं में मिलेगी सुविधा
यह प्रणाली हिंदी, अंग्रेजी और भोजपुरी में लांच होगी। वही दूसरे चरण में मगही, मैथिली और अंगिका को भी इससे जोड़ा जाएगा। इसमें स्पीच टू टेक्स्ट, टेक्स्ट टू स्पीच और इंटरैक्टिव वायस रिस्पांस की सुविधा उपलब्ध होगी।

आटोमेटेड काल के जरिए फीडबैक
उपभोक्ताओं को आटोमेटेड काल के जरिए फीडबैक देने का विकल्प भी मिलेगा। असंतोष की स्थिति में शिकायत स्वत: पुन: खुलकर वरीय अधिकारियों के पास चला जाएगा। वेबसाइट तथा व्हाट्सएप पर क्यूआर कोड को स्कैन कर भी उपभोक्ता अपनी शिकायत को् दर्ज करा सकेंगे।
विकसित किया जाएगा चैटबाट
बिजली कंपनी के सीएमडी ने यह निर्देश दिया कि पारंपरिक चैटबाट के स्थान पर जेनरेटिव आर्टिफिशि्यल इंटेलिजेंस आधारित आधुनिक चैटबाट काे विकसित किया जाए। उन्होंने कहा कि बिजली उपभोक्ताओं को किसी तरह की परेशानी न हो इस पर विशेष ध्यान दिया जाना चाहिए।
राशि को लेकर सबसे अधिक शिकायत
बिजली उपभोक्ताओं को अभी सबसे अधिक उनकी राशि को लेकर समस्या आती है। अधिकतर यूजर की शिकायत रहती है कि अचानक उनके मीटर में बिल निगेटिव में दिखाने लगता है। इसके लिए वह कई बार शिकायत भी करते हैं।

