Samastipur Weather Update : समस्तीपुर में ठंड ने 20 साल पुराना रिकार्ड तोड़ दिया है. यहां पारा सामान्य से 9 डिग्री नीचे लुढ़क गया है. मौसम विभाग के अनुसार अगले कुछ दिनों तक ठंड की स्थिति बरकरार रहेगी. यहां 10 किलोमीटर प्रतिघंटे की रफ्तार से पछुआ हवाएं चलने का अनुमान है.
Samastipur Weather : समस्तीपुर जिला शीतलहर की चपेट में है। पिछले कुछ दिनों से कड़ाके की ठंड पड़ रही है। इस बीच मंगलवार को ठंड ने पिछले 20 साल के रिकार्ड को तोड़ दिया है। वर्ष 2004 में 3 जनवरी को अधिकतम तापमान 14.5 डिग्री सेल्सियस था। जबकि मंगलवार को यह 14.2 डिग्री सेल्सियस रिकार्ड किया गया। कल इस सीजन का दूसरा सबसे सर्द दिन रहा। यह सामान्य तापमान से 9.1 डिग्री कम है। मौसम विभाग के अनुसार अगले कुछ दिनों तक यही स्थिति बने रहने की संभावना है।
मंगलवार को जारी मौसम पूर्वानुमान में डॉ राजेन्द्र प्रसाद केन्द्रीय कृषि विश्वविद्यालय पूसा के मौसम विभाग ने कहा है कि अगले कुछ दिनों तक उत्तर बिहार के जिलों में आसमान साफ तथा मौसम शुष्क रहने का अनुमान है। वातावरण में अधिक नमी तथा पछिया हवा चलने के कारण पिछले दो दिनों से कोल्ड डे की स्थिति बनी हुई है। पूर्वानुमानित अवधि में भी ठंड का प्रकोप जारी रहने की संभावना है।
मौसम विभाग का कहना है कि अधिक नमी तथा सामान्य से कम तापमान के प्रभाव से अधिकांश स्थानों पर हल्के से मध्यम कुहासा छाए रह सकते है। पूर्वानुमान की अवधि में दिन का तापमान सामान्य तापमान से 5 से 6 डिग्री सेल्सियस कम तथा रात का तापमान।
सामान्य से 2 से 3 डिग्री सेल्सियस अधिक रहने की संभावना है। इस अवधि में अधिकतम तापमान 16 से 18 डिग्री सेल्सियस तथा न्यूनतम तापमान 9 से 11 डिग्री सेल्सियस के बीच रहने का अनुमान है। मंगलवार को अधिकतम तापमान 14.2 डिग्री सेल्सियस रिकार्ड किया गया जो, सामान्य से 9.1 डिग्री सेल्सियस कम है। जबकि न्यूनतम तापमान 11.5 डिग्री सेल्सियस रहा जो सामान्य से 3.1 डिग्री सेल्सियस अधिक है। मौसम विभाग का यह भी कहना है कि पूर्वानुमानित अवधि में औसतन 7 से 10 किलोमीटर प्रति घंटा की रफ्तार से पछिया हवा चलने की संभावना है। सापेक्ष आर्द्रता सुबह में 85 से 95 प्रतिशत तथा दोपहर में 50 से 60 प्रतिशत रहने की संभावना है।
मौसम विभाग ने किसानों के लिए जारी समसामयिक सुझाव में कहा है कि अभी का मौसम आलू की फसल में पिछेती झुलसा रोग के लिए अनुकूल है। इसके बचाव के लिए 2.0 से 2.5 ग्राम इण्डोफिल एम 45 फफूंदीनाशक दवा का प्रति लीटर पानी की दर से घोल बनाकर छिड़काव करें। इस छिड़काव के 8-10 दिनों बाद पुनः रीडोमिल दवा का 1.5 से 2.0 ग्राम प्रति लीटर पानी की दर से घोल बनाकर छिड़काव करें। मटर,टमाटर, धनियां, लहसून एवं अन्य रबी फसलों में झुलसा रोग की निगरानी करें। यह इसके लिए भी नुकसानदेह है।
वहीं कड़ाके की ठंड के कारण लोग लगातार बीमार हो रहे हैं। सदर अस्पताल में कोल्ड डायरिया से लेकर मौसमी बीमारी के रोगी पटे पड़े हैं। मंगलवार को ओपीडी में 400 मरीजों का उपचार किया गया है। जिसमें अधिकतर मरीज सर्दी खांसी से लेकर कोल्ड डायरिया के शिकार बताए गए हैं। वहीं मरीजों में कड़ाके की ठंड के कारण ठंड लगने की भी शिकायतें मिल रही है।
सदर अस्पताल के उपाधीक्षक डॉ गिरीश कुमार ने बताया कि पिछले 3 दिनों से सदर अस्पताल में कोल्ड डायरिया के मरीजों की संख्या बढ़ी है। इसके अलावा ठंड लगने के कारण बुखार सर्दी खांसी शरीरों में दर्द के रोगी काफी बढ़ गए हैं। उन्होंने बताया कि ठंड के कारण बच्चे भी तेजी से बीमार पड़ रहे हैं 3 दिनों के दौरान 115 बच्चों का उपचार किया गया है जो सर्दी खांसी और बुखार से पीड़ित थे।